लॉक डाउन में दूध की खपत पर पड़ा असर, दही की सेल गिरी

लखनऊ। होटल, रेस्टोरेंट व मिठाई की दुकान पर ताला पड़ने से लड़खड़ाया बाजार अब उबरने की स्थिति में है। सरकार की और से दूध की सप्लाई सामान्य बनाए रखने के लिए हर स्तर पर प्रयास किए जा रहे हैं, मगर बाजार में होने वाली दूध की खपत सामान्य नहीं हो पा रही है। इसके चलते दूध कारोबारियों के पास करोड़ों रुपये की इन्वेंटरी तैयार हो चुकी है, जिसके चलते उनमें तनाव बढ़ता जा रहा। वहीं सरकारी नुमाइंदों का दावा है कि लॉकडाउन के पहले दिन से निरंतर दूध की खपत का ग्राफ बढ़ा है। आम हो य खास, सभी तक दूध मुहैया हो रहा है। उनका यह भी दावा है की यदि कोई कसर रह गई है तो एक-दो दिन में वह भी दूर कर दी जाएगी। ज्ञान डेयरी के एमडी जय अग्रवाल ने बताया कि हम 5.50 लाख लीटर दूध प्रतिदिन लेते हैं। इन दिनों करीब दो लाख लीटर बाजार में खप पा रहा है। शेष ड्राई मिल्क, घी व दही बनाने में इस्तेमाल करना पड़ रहा है। आमतौर पर इन दिनों दही की खपत भी ठीक-ठाक रहती थी, मगर कोरोना के डर से लोग ठंडी चीजों से भी परहेज करने लगे हैं। ऐसे में दही की सेल भी गिर गई है। लॉकडाउन से अब तक करीब 90 करोड़ की इन्वेंटरी तैयार हो चुकी है। लॉकडाउन में अभी 14 दिन शेष है। ऐसे में हमें बड़ी समस्या का सामना करना पड़ सकता है। निर्बाध हो रही है सप्लाई: दुग्ध विकास के प्रमुख सचिव भुवनेश कुमार ने बताया कि दूध की सप्लाई निर्बाध रूप से हो रही है। सभी 75 जिले की प्रॉपर निगरानी की जा रही है। 26 मार्च को 7.52 लाख लीटर दूध, 27 मार्च को 8.41 लाख लीटर, 28 को 10.44, 29 को 17.13, 30 को 19.74 और 31 को 22.91 लाख लीटर दूध बाजार में वितरित किया गया। दूध की सप्लाई पूरी तरह सामान्य हो चुकी है। कुल 13842 डिलीवरी मैन काम कर रहे हैं। सभी को पास की व्यवस्था पहले ही कराई जा चुकी हैं। क्षेत्रीय दुग्धशाला अधिकारियों व नगर आयुक्तों को पहले ही निर्देश जारी किए जा चुके हैं। दूध की समस्या किसी को नहीं आने दी जाएगी।